हरिद्वार। श्रीगीता विज्ञान आश्रम ट्रस्ट के परमाध्यक्ष महामंडलेश्वर स्वामी विज्ञानानंद सरस्वती महाराज ने कहा है कि शिव ही सृष्टि के सर्वशक्तिमान देव हैं। जो जलाभिषेक से प्रसन्न होकर इच्छित वरदान देते हैं। सृष्टि में सर्वाधिक भक्त महादेव के हैं और जो भी भक्त महाशिवरात्रि पर शिवोपासना करता है, उसकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण हो जाती हैं। विष्णु गार्डन स्थित श्रीगीता विज्ञान आश्रम में आयोजित महाशिवरात्रि महोत्सव में पधारे शिव भक्तों को आशीर्वचन प्रदान करते हुए स्वामी विज्ञानानंद सरस्वती महाराज ने कहा कि दक्ष नगर कनखल से भगवान शिव का संस्कारी संबंध हैं। कनखल में महादेव की ससुराल है। इसीलिए दक्षेश्वर महादेव मंदिर सहित संपूर्ण कनखल क्षेत्र में जो भक्त भगवान शिव के निराकार स्वरूप शिवलिंग का जलाभिषेक करते हैं। उनके कर्मपथ में आने वाली समस्त बाधाएं दूर हो जाती हैं, और सभी मनोरथ पूर्ण होते हैं। शिव महिमा का वर्णन करते हुए उन्होंने कहा कि राजा भगीरथ की तपस्या से प्रसन्न होकर ब्रह्मा ने अपने कमंडल से गंगा को भगवान शिव की जटाओं के माध्यम से ही धरा धाम पर उतारा था। इसीलिए भगवान शिव का जलाभिषेक जो भक्त गंगाजल से करता है। उसको भगीरथ पुण्यफल की प्राप्ति होती है। महाशिवरात्रि पर होने वाले रुद्राभिषेक को महान पुण्य फलदायी बताते हुए वयोवृद्ध संत ने कहा कि गंगा गंगोत्री के गोमुख से निकलकर गंगासागर तक जाती हैं। लेकिन हरिद्वार के गंगा जल का विशेष महत्व है। इसीलिए शिवभक्त हरिद्वार से गंगाजल ले जाकर अपने-अपने अभिष्ठ शिवालयों में भगवान का अभिषेक कर विश्व कल्याण की कामना करते हैं।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा कि वर्तमा
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