हरिद्वार। हरिधाम सनातन सेवा ट्रस्ट आश्रम में देश दुनिया को कोरोना से मुक्ति दिलाने के लिए आनन्द पीठाधीश्वर आचार्य महामण्डलेश्वर स्वामी बालकानन्द गिरी महाराज के सानिध्य में हवन यज्ञ का आयोजन किया गया। इस अवसर पर मां गंगा से पूरी दुनिया को कोरोना से मुक्त करने व खुशहाली प्रदान करने की कामना करते हुए आचार्य म.म.स्वामी बालकानन्द गिरी महाराज ने कहा कि भारत सनातन परंपरांओं को मानने तथा ईश्वर में आस्था रखने वालों का देश है। जब जब देश दुनिया पर कोई संकट आया है तो संत महापुरूषों ने हमेशा आगे बढ़कर सेवा कार्य संचालित करते हुए पीड़ितों की मदद की है। कोरोना काल में भी देश भर में अखाड़ों, आश्रमों, मठ, मंदिरों द्वारा बड़े स्तर पर सेवा कार्य संचालित करते हुए गरीब, असहायों को भोजन, आश्रय व अन्य सहायता उपलब्ध करायी। उन्होंने कहा कि कोई भी संकट स्थायी नहीं होता है। पूरी दुनिया में मानव जाति को पीड़ा देने वाला कोरोना भी ईश्वर व मां गंगा की कृपा से जल्द समाप्त हो जाएगा। संतों की आध्यात्मिक ऊर्जा व पवित्र जड़ी बुटियों से होने वाले यज्ञ से निकलने वाला धुंआ जहां जहां आवरण बनाते हैं। वहां से नकारात्मक ऊर्जा व रोग सदैव के लिए समाप्त हो जाता है। उन्होंने बताया कि पुरूषोत्तम मास के उपलक्ष्य में आश्रम में 27 सितम्बर से श्रीमद्भागवत कथा का आयोजन किया जा रहा है। आॅनलाईन प्रारूप में आयोजित की जा रही श्रीमद्भागवत कथा से आध्यात्मिक ऊर्जा का संचार होगा और श्रीहरि की कृपा से देश में खुशहाली का वातावरण बनेगा। हवन यज्ञ में आचार्य मनीष गिरी, स्वामी नथीनंद गिरी, स्वामी सत्यानंद गिरी, स्वामी महेश जोशी, स्वामी मोनू गिरी, पंडित रंजीत पाण्डेय, ज्योतिषाचार्य मंजू श्रीजी, अनमोल, अनुभव, पायल आदि शामिल रहे।
हरिद्वार। भाजपा की ओर से ऋषिकेश मेयर,मण्डल अध्यक्ष सहित तीन नेताओं को अनुशासनहीनता के आरोप में नोटिस जारी किया है। एक सप्ताह के अन्दर नोटिस का जबाव मांगा गया है। भारतीय जनता पार्टी ने अनुशासनहीनता के आरोप में ऋषिकेश की मेयर श्रीमती अनिता ममगाईं, ऋषिकेश के मंडल अध्यक्ष दिनेश सती और पौड़ी के पूर्व जिलाध्यक्ष मुकेश रावत को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। भाजपा के प्रदेश मीडिया प्रभारी मनबीर सिंह चैहान के अनुसार पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक के निर्देश पर प्रदेश महामंत्री कुलदीप कुमार ने नोटिस जारी किए हैं। नोटिस में सभी को एक सप्ताह के भीतर अपना स्पष्टीकरण लिखित रूप से प्रदेश अध्यक्ष अथवा महामंत्री को देने को कहा गया है।
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