हरिद्वार। कनखल शमशान विकास समिति के महामंत्री रामकुमार मिश्रा ने जिलाधिकारी को पत्र लिखकर शमशान में कोरोना मृतकों के दाह संस्कार व पीपीई किट के निस्तारण तथा शमशान को प्रतिदिन सेनेटाईज करने के लिए उचित व्यवस्थाएं करने की मांग की है। पत्र की प्रतिलिपि मुख्य चिकित्साधिकारी व नगर निगम को भी भेजी गयी है। पत्र में रामकुमार मिश्रा ने कहा है कि कनखल श्मशान घाट पर कोरोना मृतकों का दाह संस्कार भी किया जा रहा ह। इस दौरान पीपीई किट को जहां तहां छोड़ दिया जाता है। इधर उधर फैली पीपीई किट पर आवारा कुत्ते व लावारिस गाय मुंह मारते हैं। जिससे कनखल क्षेत्र में कोरोना फैलने का अंदेशा बढ़ रहा है। कुछ दिनों से कनखल शमशान में कोरोना मृतकों के चार से पांच शव रोजाना आ रहे है। उनके दाह संस्कार के लिए प्रशासन की ओर से कोई समय भी निश्चित नहीं है। शुक्रवार रात साढ़े नौ बजे के बाद एक शव लेकर आए लोगों को बताया गया कि इस समय संस्कार करना उचित नहीं है तो उन्होंने अनुमति होने का हवाला दिया। कोरोना के डर के चलते श्मशान घाट के सेवक पीपीई किट का निस्तारण नहीं कर पाते हैं। रामकुमार मिश्रा ने मांग की है कि कोरोना काल में श्मशान घाट में प्रशासनिक कर्मचारियों व पुलिसकर्मियों को नियुक्त किया जाए। ताकि पीपीई किट का सही निस्तारण तुरन्त किया जा सके। कनखल श्मशान में कोरोना मृतकांे के दाह संस्कार के लिए 2 स्थान नियत किये गए हैं। अधिक सँख्या में शव आने के कारण परिजन पक्के बने घाट की सीढ़ियों पर भी शवदाह कर रहे हैं। जिस कारण नमामि गंगे निधि से बने घाट भी क्षतिग्रस्त होने का अंदेशा हो गया है। रामकुमार मिश्रा ने प्रशासन को कोरोना मृतकों के शवदाह की व्यवस्था शहर से बाहर चंडीघाट शमशान घाट पर करने का सुझाव भी दिया है।
हरिद्वार। भाजपा की ओर से ऋषिकेश मेयर,मण्डल अध्यक्ष सहित तीन नेताओं को अनुशासनहीनता के आरोप में नोटिस जारी किया है। एक सप्ताह के अन्दर नोटिस का जबाव मांगा गया है। भारतीय जनता पार्टी ने अनुशासनहीनता के आरोप में ऋषिकेश की मेयर श्रीमती अनिता ममगाईं, ऋषिकेश के मंडल अध्यक्ष दिनेश सती और पौड़ी के पूर्व जिलाध्यक्ष मुकेश रावत को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। भाजपा के प्रदेश मीडिया प्रभारी मनबीर सिंह चैहान के अनुसार पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक के निर्देश पर प्रदेश महामंत्री कुलदीप कुमार ने नोटिस जारी किए हैं। नोटिस में सभी को एक सप्ताह के भीतर अपना स्पष्टीकरण लिखित रूप से प्रदेश अध्यक्ष अथवा महामंत्री को देने को कहा गया है।
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