हरिद्वार। मुख्य विकास अधिकारी सौरभ गहरवार ने पीसीपीएनएडीटी समिति की बैठक में सलाहाकार समिति के सदस्यों से एक्ट का कड़ाई से पालन कराये जाने के लिए सीडीओ द्वारा समिति सदस्यों व स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिये गये। उन्होंने कहा कि पंजिकृत सक्रिय डायग्नोस्टिक केंद्रोे की मासिक रिपोर्ट अनिवार्य रूप् से निश्चित तिथि पर प्राप्त की जाये। साथ ही सेंटरों से प्राप्त रिपोर्ट बैठक में भी प्रस्तुत की जाये। संदिग्ध सेंटरों पर प्रत्येक सप्ताह निरीक्षण किया जाये, जिसकी रिपोर्ट आख्या सहित प्रत्येक बैठक में प्रस्तुत की जाये। सेंटरों पर मूलभूत सुविधाओं को क्लीनीकल स्अेबलिशमेंट एक्ट के तहत पूर्ण कराया जाय। जनपद के समस्त पंजिकृत डायग्नोस्टिक सेंटरों की जिओ टेगिंग करने की सहमति समिति की बैठक में बनी। जिसको आमजन के हित में प्रसारित किया जायेगा। जो भी सेंटर मानकों को पूर्ण करते हैं और नियमानुसार कार्य करते हैं उन्हें भी समिति के माध्यम से पुरस्कृत किये जाने पर सहमति बैठक में बनी। बैठक में अपर मुख्य चिकित्साधिकारी डाॅ अजय कुमार, डाॅ शशिकांत, समिति सदस्य श्रीमती अर्चना जिला सूचना अधिकारी, श्रीमती रश्मि चैहान, डाॅ दिपेश,फरमूद अली, श्रीमती सरिता भट्ट, श्याम प्रकाश सहित अन्य सदस्य उपस्थित रहे।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा कि वर्तमा
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