हरिद्वार। चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों(चिकित्सा स्वास्थ्य) ने महानिदेशालय और आयुर्वेद विश्वविद्यालय के अधिकारियों की सद्बुद्धि के लिए बुद्धिशुद्धि यज्ञ किया। चतुर्थ श्रेणी राज्य कर्मचारी संघ चिकित्सा स्वास्थ्य उत्तराखंड के पूर्व घोषित आंदोलन कार्यक्रम के तहत दूसरे चरण में यज्ञ किया और ईश्वर से प्रार्थना की गई कि अधिकारियों को जल्द सद्बुद्धि आए। प्रदेश अध्यक्ष दिनेश लखेड़ा, प्रदेश प्रवक्ता शिवनारायण सिंह, प्रदेश उपाध्यक्ष दीपक धवन, जिला मंत्री राकेश भंवर, उपशाखा ऋषिकुल, गुरुकुल अध्यक्ष छात्रपाल सिंह, राकेश चंद्र, मंत्री जयनारायण सिंह, ताजबर सिंह नेगी ने कहा कि कर्मचारियों की मांगों का जल्द निस्तारण किया जाए, नहीं तो आमरण अनशन किया जाएगा। महामंत्री सुनील अधिकारी, ऑडिटर महेश कुमार, उपाध्यक्ष नेलसन अरोड़ा, गुरुप्रसाद गोदियाल, मंगल लाल आर्य, संगठन सचिव विपिन नेगी, सुरेंद्र कश्यप, जिला मंत्री त्रिभुवन पाल ने कहा कि 24 और 25 अगस्त को जिलाधिकारी और नगर मजिस्ट्रेट महोदय के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा जाएगा। 26 अगस्त से कर्मचारी पूरे प्रदेश में क्रमिक अनशन करेंगे। 26 अगस्त से कर्मचारी पूरे प्रदेश में क्रमिक अनशन पर होगा यदि 10 दिवस में कार्यवाही नही होती तो प्रदेश पदाधिकारियों के साथ समस्त जनपदों के जिला अध्यक्ष मंत्री और कार्यकारणी बारी बारी से आमरण अनशन पर बैठ जाएंगे जिसका सम्पूर्ण उत्तरदायित्व विभागाध्यक्ष एवं सरकार का होगा। बुद्धि सुद्धि यज्ञ में शिवनारायण सिंह, दीपक धवन, जयनारायण सिंह, छत्रपाल सिंह, गुरुप्रसाद गोदियाल, मंगल लाल आर्य,चंद्रप्रकाश, त्रिभुवंन पाल, नेलसन अरोड़ा, सुनील अधिकारी, ताजबर सिंह,त्रिलोक, राकेश चंद्र, अजय कुमार,मूलचंद चैधरी, महेश कुमार, मुकेश, सुरेश चंद्र, दिनेश नोटियाल, राकेश भँवर, संदीप शर्मा, रामपाल,अजय रानी, नीलम, मुन्नी देवी, सुदेश, सत्यवीर सिंह इत्यादि बुद्धि सुद्धि यज्ञ में शामिल रहे।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा कि वर्तमा
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