हरिद्वार। स्थानान्तरण नीति के तहत निहित प्रावधानों के अनुसार मैदानी जनपद में समय पूर्ण हो जाने के बाद आईजी गढ़वाल की ओर से जनपद में तैनात दो दर्जन दरोगाओं का स्थानान्तरण राज्य के अलग अलग पर्वतीय जनपदों में कर दिया गया है। इन सभी को 17सितम्बर को कार्यमुक्त किये जाने के आदेश दिए गए है। इस सम्बन्ध में जारी आदेश के अनुसार जनपद के विभिन्न थानों में तैनात दो दर्जन दरोगाओं का तबादला किया गया है। आदेश के अनुसार दरोगा विनोद सिंह को जनपद चमोली,दरोगा मेराजुदद्ीन एंव महिला दरोगा मीना आर्य को जनपद पौड़ी गढ़वाल,दरोगा विजय प्रकाश को चमोली, अमित कुमार को जनपद रूद्रप्रयाग, संजय रावत को पौड़ी गढ़वाल, रविन्द्र डोभाल को जनपद टिहरी गढ़वाल,दरोगा विनोद कुमार को जनपद रूद्रप्रयाग,दरोगा राजेन्द्र सिंह को चमोली,प्रकाश सिंह राणा को उत्तरकाशी,दिलमोहन सिंह को चमोली,दरोगा सतीशचन्द्र शाह व विजय पाल को जनपद रूद्रप्रयाग,महिला दरोगा कविता जोशी को टिहरी गढ़वाल,दरोगा सम्पूर्णानंद जुयाल व देवेन्द्र कुमार पंत को जनपद चमोली,दीपक लिंगवाल व कुंवर राम आर्य को टिहरी गढ़वाल,दरोगा संजय गौड़ को रूद्रप्रयाग,दरोगा तस्लीम आरिफ को उत्तरकाशी,जगमोहन रमोला को पौड़ी गढ़वाल,सुखपाल सिंह मान को टिहरी गढ़वाल तथा दरोगा अनिल रावत को जनपद रूद्रप्रयाग भेजा गया है।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा कि वर्तमा
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