हरिद्वार। उत्तरी हरिद्वार में साल 2012 में युवक की हत्या के मामले में कोर्ट ने उसकी पत्नी के प्रेमी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। आरोप है कि सजा सुनते ही प्रेमी तैश में आ गया और सरकारी अधिवक्ता को जान से मारने की धमकी दे डाली। पुलिस ने अधिवक्ता की शिकायत पर मुकदमा दर्ज कर लिया है। पुलिस के मुताबिक, जिला शासकीय अधिवक्ता फौजदारी नीरज कुमार गुप्ता ने शिकायत देकर बताया कि वह चार अक्टूबर को न्यायालय में सहायक जिला शासकीय पद पर कार्य कर रहे थे। सत्र न्यायाधीश चतुर्थ के न्यायालय में ब्रह्मपुरी क्षेत्र में प्रेमिका के साथ मिलकर पति की हत्या करने के आरोपित बिजेन्द्र कुमार निवासी सलूनी पीर माजरा थाना देवबन्द जिला सहारनपुर की सुनवाई का मामला लंबित चला रहा है। चार अक्टूबर को सुनवाई के दौरान शाम चार बजे आरोपित बिजेन्द्र कुमार को न्यायिक हिरासत में होने के कारण निर्णय सुनाने के लिए हवालात से तलब किया। नीरज कुमार गुप्ता का कहना है कि अभियुक्त को न्यायालय ने धारा 302, 328 में दोष सिद्ध किया था। जिसमें आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई थी। अधिवक्ता नीरज का कहना है कि आदेश सुनाए जाने के बाद न्यायाधीश विश्राम गृह में चले गए और आरोपित बिजेंद्र तैश में आ गया। जिसके बाद बिजेंद्र ने धमकी दी कि सजा कराने पर वह जेल से आते ही अधिवक्ता की हत्या कर देगा। उस समय न्यायालय में एक अन्य अधिवक्ता अशोक शर्मा, अजरा कोमल समेत अन्य अधिवक्ता, न्यायालय का स्टाफ व कोर्ट मोहर्रिर आरक्षी सुरेश नेगी व गारद के सिपाही मौजूद थे। एसएचओ सिडकुल प्रमोद उनियाल ने बताया कि अधिवक्ता की शिकायत पर बिजेंद्र के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी गई है।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा कि वर्तमा
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