हरिद्वार। भारी भीड़ के कारण पुलिस प्रशासन के तमाम व्यवस्थाओं के बावजूद कार्तिक पूर्णिमा स्नान पर्व पर यातायात व्यवस्था चरमरा गई। हरकी पैड़ी बाईपास पर पार्किग में एंट्री करने को लेकर सर्विस लेन पर दिन भर जाम लगता खुलता रहा। चाहकर भी हरिद्वार पुलिस सर्विस लेन पर लगे जाम को खुलवाने में नाकामयाब रही। जैसे जैसे पार्किंगों में दबाव कम होता रहा वैसे वैसे सर्विस लेन से जाम खत्म होता चला गया। हलांकि फ्लाईओवर पर यातायात सरपट दौड़ता रहा। पूर्णिमा के मौके पर स्नान पर्व में शािमल होने देर रात से ही हाईवे पर रौनक दिखाई देने लगी थी। तड़के ही स्नान का क्रम शुरू हो गया था,जो देर शाम तक जारी रहा। शहर में शिवमूर्ति से लेकर भीमगोड़ा बैरियर तक जीरो जोन रहा,जिसमें वाहनों का चलना प्रतिबंधित था,लेकिन हाइवे पर शंकराचार्य चैक पार करते ही फ्लाईओवर के साथ सर्विस लेन से लगा जाम पंतद्वीप पार्किग के एंट्री प्वाइंट तक लगा रहा। दरअसल, पंडित दीनदयाल उपाध्याय एवं पंतद्वीप पार्किंग में एंट्री करने की जददोजहद यात्री करते रहे। इसी वजह से सर्विस लेन पर जाम लगता रहा। पार्किंगें पहले से ही ठसाठस भरी हुई थी और आ रहे श्रद्धालु पार्किंग में एंट्री करना चाहते थे। बस हर बार की तरह जाम लगने की यही वजह बनकर सामने आई। दूसरी बात इन पार्किंगों के एंट्री गेट भी हाईवे से ही सटे हैं इसलिए एंट्री करने के दौरान शुल्क अदा करने में कुछ सेंकड का वक्त लगने के चलते सर्विस लेन पर दबाव बनता गया। इन दो पार्किंगों के अलावा अन्य अस्थाई पार्किंगों के हाईवे से सटा होना ही जाम की दूसरी वजह बनता ही रहा है, स्थिति देखकर कहा जा सकता है कि हरिद्वार पुलिस की यातायात को लेकर बनाई योजना धाराशाई हो गई। जैसे पार्किंगों में जगह बनती गई, तब कही जाकर सर्विस लेन पर लगी लंबी लंबी कतार छोटी होती गई। दोपहर तक सर्विस लेन खाली होती चली गई।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा ...
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