हरिद्वार। मानव अधिकार संरक्षण समिति की कनखल नगर अध्यक्षा रेखा नेगी ने विश्व हिन्दी दिवस बच्चों के साथ मनाया। उन्होने बच्चों को विश्व हिन्दी दिवस के बारे में बताते हुये कहा कि भारत जैसे हिंदी प्रधान देश में दो हिंदी दिवस मनाएं जाते है। 10 जनवरी को विश्व हिंदी दिवस और दूसरा 14 सितम्बर को जिसे हिंदी दिवस या फिर राष्ट्रीय हिंदी दिवस का कहा जाता है। उन्होने बताया कि भारत पूरी दुनिया में सबसे विविध देशों में से एक है। भारत में कई धर्म, रीति-रिवाज, परंपराएं, व्यंजन और भाषाएं हैं। हिंदी भारत में सबसे अधिक बोली जाने वाली भाषाओं में से एक है। हमारे देश में हिंदी भाषा को हर कोई आसानी से समझता और बोलता है। उन्होने बच्चों को कहा जहाँ अंग्रेजी एक विश्वव्यापी भाषा है और इसके महत्व को अनदेखा नहीं किया जा सकता है वहीँ हमें यह नहीं भूलना चाहिए कि हम पहले भारतीय हैं और हमें हमारी राष्ट्रीय भाषा का सम्मान करना चाहिए। आधिकारिक भाषा के रूप में हिंदी को अपनाने से साबित होता है कि सत्ता में रहने वाले लोग अपनी जड़ों को पहचानते हैं और चाहते हैं कि लोगों द्वारा हिंदी को भी महत्व दिया जाए। उन्होने बच्चों को कोविड के बारे में भी जानकारी दी।इस अवसर पर जीविका नेगी,निष्कर्ष नेगी, मंथन कालरा, दिव्यान्शी नौटियाल, मयंक, वेदी, कृति नौटियाल आदि बच्चे उपस्थित रहे।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा कि वर्तमा
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