अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष एवं श्री पंचायती अखाड़ा महानिर्वाणी के सचिव श्रीमहंत रविंद्रपुरी महाराज ने कहा है कि जल्द ही अखाड़ा परिषद की बैठक बुलाकर फर्जी स संतों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी और शासन प्रशासन को सचेत किया जाएगा कि ऐसे फर्जी संतो से सतर्क रहें, जो स्वयं को किसी अखाड़े या आश्रम का महंत, श्रीमहंत अथवा महामंडलेश्वर बताकर दुष्प्रचार कर समाज को गुमराह करने का कार्य कर रहे हैं। कनखल स्थित श्री पंचायती अखाड़ा महानिर्वाणी में चेतन ज्योति आश्रम के अध्यक्ष स्वामी ऋषिश्वरानंद महाराज ने संतो के एक प्रतिनिधिमंडल के साथ अखाड़ा परिषद अध्यक्ष श्रीमहंत रविंद्रपुरी महाराज से भेंट वार्ता कर फर्जी संतों के खिलाफ मुहिम चलाकर कार्रवाई की मांग की। इस दौरान श्रीमहंत रविंद्रपुरी महाराज ने कहा कि हरिद्वार सहित संपूर्ण भारतवर्ष में सनातन धर्म को बदनाम करने के लिए कुछ तथाकथित पारिवारिक लोग भगवा चोला धारण कर समाज को गुमराह कर रहे हैं। जिसे बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। ऐसे फर्जी संतों के खिलाफ अखाड़ा परिषद जल्द ही एक बैठक कर सूची जारी करेगा और शासन-प्रशासन से मांग की जाएगी कि ऐसे फर्जी संतों के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई कर उन्हें कठोर से कठोर दंड प्रदान किया जाए। श्री चेतन ज्योति आश्रम के अध्यक्ष स्वामी ऋषिश्वरानंद महाराज ने कहा कि कुछ तथाकथित भगवाधारी बाहर से उत्तराखंड एवं अन्य तीर्थ स्थानों पर जाकर समाज को गुमराह करने का कार्य कर रहे हैं। यह फर्जी संत समय≤ पर समाज में उन्माद पैदा कर समाज को बांटने का कार्य करते हैं। जोकि कतई स्वीकार नहीं है। अब समय आ गया है कि समाज के समक्ष इनका चेहरा उजागर किया जाए। समस्त संत समाज अखाड़ा परिषद से मांग करता है कि जल्द ही बैठक बुलाकर ऐसे फर्जी संतों के खिलाफ कठोर से कठोर कारवाई की जाए। स्वामी नलिनानंद गिरी महाराज ने कहा कि आज संपूर्ण भारतवर्ष में सनातन धर्म को तोड़ने के लिए विदेशी ताकतों द्वारा अभियान चलाया जा रहा है। राष्ट्र की एकता अखंडता बनाए रखने के लिए संत समाज को आगे आना होगा। फर्जी संत समाज को तो गुमराह करते ही हैं साथ ही श्रद्धालु भक्तों की आस्था को भी चोट पहुंचाते हैं। जिस कारण समाज के कुछ लोग भगवा चोले को बदनाम करने में लग जाते हैं। ऐसे तथाकथित संतों पर जल्द से जल्द कठोरतम कार्रवाई हो इसके लिए संपूर्ण संत समाज एकजुट होगा। इस अवसर पर कोठारी महंत जसविन्दर सिंह महाराज,महंत अमनदीप सिंह,महंत सूर्यमोहन गिरी,महंत रघुवीर दास, भागवताचार्य संजीव कृष्ण ठाकुर, भागवताचार्य स्वामी अभिषेक कृष्ण मौजूद रहे।
112वॉ मुलतान जोत महोत्सव 7अगस्त को,लाखों श्रद्वालु बनेंगे साक्षी हरिद्वार। समाज मे आपसी भाईचारे और शांति को बढ़ावा देने के संकल्प के साथ शुरू हुई जोत महोसत्व का सफर पराधीन भारत से शुरू होकर स्वाधीन भारत मे भी जारी है। पाकिस्तान के मुल्तान प्रान्त से 1911 में भक्त रूपचंद जी द्वारा पैदल आकर गंगा में जोत प्रवाहित करने का सिलसिला शुरू हुआ जो आज भी अनवरत 112वे वर्ष में भी जारी है। इस सांस्कृतिक और सामाजिक परम्परा को जारी रखने का कार्य अखिल भारतीय मुल्तान युवा संगठन बखूबी आगे बढ़ा रहे है। संगठन अध्यक्ष डॉ महेन्द्र नागपाल व अन्य पदाधिकारियो ने रविवार को प्रेस क्लब में पत्रकारों से मुल्तान जोत महोत्सव के संबंध मे वार्ता की। वार्ता के दौरान डॉ नागपाल ने बताया कि 7 अगस्त को धूमधाम से मुलतान जोट महोत्सव सम्पन्न होगा जिसके हजारों श्रद्धालु गवाह बनेंगे। उन्होंने बताया कि आजादी के 75वी वर्षगांठ पर जोट महोत्सव को तिरंगा यात्रा के साथ जोड़ने का प्रयास होगा। श्रद्धालुओं द्वारा जगह जगह सुन्दर कांड का पाठ, हवन व प्रसाद वितरण होगा। गंगा जी का दुग्धाभिषेक, पूजन के साथ विशेष ज्योति गंगा जी को अर्पित करेगे।
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