हरिद्वार। पण्डित हरप्रसाद पाण्डेय विद्वान व तपस्वी महापुरुष थे। उनका समूचा जीवन भगवान लक्ष्मी नारायण व बजरंग बली जी की आराधना एवं संस्कृत के उत्थान को समर्पित रहा। यह विचार भाजपा पार्षद दल के उपनेता अनिरूद्ध भाटी ने मौनी मंदिर के अधिष्ठाता पण्डित हरप्रसाद पाण्डेय की आठवीं पुण्यतिथि के अवसर पर व्यक्त किये। अनिरूद्ध भाटी ने कहा कि उन्होंने सदैव भारतीय सनातन संस्कृति की रक्षा व धार्मिक सामाजिक आयोजनों में अपना महत्वपूर्ण योगदान प्रदान किया। पार्षद विनित जौली व दीपांशु विद्यार्थी ने कहा कि पण्डित हरप्रसाद पाण्डेय संस्कृत के महान विद्वान होने के साथ-साथ वेद व ज्योतिष के भी ज्ञाता थे। उनकी परम्परा को उनके सुपुत्र बालगोविन्द पाण्डेय आगे बढ़ा रहे हैं।पण्डित बालगोविन्द पाण्डेय ने कहा कि पूज्य बाबूजी के सेवा प्रकल्पों को निरन्तर संचालित किया जा रहा है। इस अवसर पर बालगोविन्द पाण्डेय, अभिषेक पाण्डेय, त्रिलोचन पाण्डेय, विनोद सक्सेना, दीपांशु विद्यार्थी, विनित सैनी समेत सैकड़ों संतजन व श्रद्धालु भक्तजनों ने ब्रह्मलीन पण्डित हरप्रसाद पाण्डेय को अपनी भावभीनी श्रद्धाजंलि अर्पित की।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा कि वर्तमा
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