हरिद्वार। उज्जैन के प्रख्यात चिकित्सक डा.सुमन संन्यास दीक्षा लेने के पश्चात महामण्डलेश्वर डा.सुमन गिरी के रूप में जाने जाएंगे। 14 जनवरी को उज्जैन में निरंजन पीठाधीश्वर आचार्य महामण्डलेश्वर स्वामी कैलाशानंद गिरी डा.सुमन को सन्यास दीक्षा देंगे। सन्यास दीक्षा के उपरांत सभी तेरह अखाड़ों के संत महापुरूषों के सानिध्य में उन्हें महामण्डलेश्वर की उपाधि प्रदान की जाएगी। श्री दक्षिण काली मंदिर में जानकारी देते हुए निरंजनी अखाड़े के आचार्य महामण्डलेश्वर स्वामी कैलाशानंद गिरी महाराज ने बताया कि डा.सुमन उज्जैन के प्रख्यात चिकित्सक हैं। निरंजनी अखाड़े के संत के रूप में उन्हें सन्यास दीक्षा देकर अखाड़े के महामण्डलेश्वर की उपाधि प्रदान की जाएगी। सन्यास दीक्षा के उपरांत उन्हें महामण्डलेश्वर स्वामी डा.सुमन गिरी के रूप में जाना जाएगा। स्वामी कैलाशानंद गिरी ने कहा कि निरंजनी अखाड़े के महामण्डलेश्वर के रूप में स्वामी डा.सुमन गिरी सनातन धर्म संस्कृति के प्रचार प्रसार में योगदान करेंगे। स्वामी कैलाशानंद गिरी के शिष्य स्वामी अवंतिकानंद ब्रह्मचारी महाराज ने बताया कि 1 जनवरी को आचार्य महाण्डलेश्वर स्वामी कैलाशानंद गिरी महाराज का 46वां जन्मोत्सव भव्य रूप से समारोह पूर्वक मनाया जाएगा। जिसमें सभी तेरह अखाडों के संत, महंत, महामण्डलेश्वर, राजनेता व गणमान्य लोग शामिल होंगे।
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा कि वर्तमा
Comments
Post a Comment