हरिद्वार। श्रीखंड कैलाश धाम आश्रम कांगड़ी में श्री रामचरित्र मानस अखंड पाठ तथा विशाल भंडारे का आयोजन किया गया। इस अवसर पर बोलते हुए श्री महंत मस्त गिरी जी महाराज ने भक्तों को भजन के माध्यम से ईश्वर आराधना के लिए प्रेरित किया। उन्होंने कहां मनुष्य ताउम्र तेरा मेरा तथा अपने नित्य कर्म की आपाधापी में लगा रहता है किंतु भजन करने के लिए ईश्वर की ओर ध्यान देने के लिए बड़ा ही अल्पसमय कभी निकाल पाता है, किंतु मनुष्य को जिस प्रकार जल और भोजन के अलावा अन्य आवश्यक सुविधाजनक वस्तुओं की आवश्यकता है। उसी प्रकार हरि के भजन की भी नित्य आवश्यकता है। क्योंकि अगर आप यह सोच रहे हैं कि बुढ़ापे में भजन करेंगे तो बुढ़ापे में आप स्वयं निशक्त हो जाएंगे। इस अवसर पर महामंडलेश्वर संजय गिरी जी महाराज, महामंडलेश्वर प्रमोदानंद जी महाराज, महामंडलेश्वर दुर्गा दास जी महाराज, महंत शुभम गिरी, महंत कमलेशानंद, महंत प्रमोद दास, वरिष्ठ कोतवाल कालीचरण ,श्री श्याम गिरी जी महाराज,घनश्याम गिरि, मनोजानंद परवीन सहित भारी संख्या में संत महंत तथा भक्तगण उपस्थित थे।
हरिद्वार। श्रीखंड कैलाश धाम आश्रम कांगड़ी में श्री रामचरित्र मानस अखंड पाठ तथा विशाल भंडारे का आयोजन किया गया। इस अवसर पर बोलते हुए श्री महंत मस्त गिरी जी महाराज ने भक्तों को भजन के माध्यम से ईश्वर आराधना के लिए प्रेरित किया। उन्होंने कहां मनुष्य ताउम्र तेरा मेरा तथा अपने नित्य कर्म की आपाधापी में लगा रहता है किंतु भजन करने के लिए ईश्वर की ओर ध्यान देने के लिए बड़ा ही अल्पसमय कभी निकाल पाता है, किंतु मनुष्य को जिस प्रकार जल और भोजन के अलावा अन्य आवश्यक सुविधाजनक वस्तुओं की आवश्यकता है। उसी प्रकार हरि के भजन की भी नित्य आवश्यकता है। क्योंकि अगर आप यह सोच रहे हैं कि बुढ़ापे में भजन करेंगे तो बुढ़ापे में आप स्वयं निशक्त हो जाएंगे। इस अवसर पर महामंडलेश्वर संजय गिरी जी महाराज, महामंडलेश्वर प्रमोदानंद जी महाराज, महामंडलेश्वर दुर्गा दास जी महाराज, महंत शुभम गिरी, महंत कमलेशानंद, महंत प्रमोद दास, वरिष्ठ कोतवाल कालीचरण ,श्री श्याम गिरी जी महाराज,घनश्याम गिरि, मनोजानंद परवीन सहित भारी संख्या में संत महंत तथा भक्तगण उपस्थित थे।
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