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विहिप केंद्रीय मार्गदर्शन मण्डल की बैठक आयोजित

 संतों ने मंदिरों के अधिग्रहण और अवैध धर्मांतरण पर रोक को कठोर कानून की मांग 


हरिद्वार। विश्व हिन्दू परिषद की केन्द्रीय मार्गदर्शक मण्डल (उपवेशन) की दो दिवसीय बैठक कनखल सन्यास मार्ग स्थित श्रीकृष्ण निवास आश्रम में आयोजित की गयी। उपवेशन का उद्घाटन जगदगुरू शंकराचार्य वासुदेवानंद सरस्वती महाराज,जूना पीठाधीश्वर आचार्य महामंडलेश्वर अवधेशानंद गिरि महाराज, निर्वाण पीठाधीश्वर आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी विशोकानंद भारती महाराज, गीता मनीषी महामंडलेश्वर स्वामी ज्ञानानंद महाराज, रामानंदाचार्य स्वामी रामराजेश्वराचार्य,श्रीनाथ संप्रदायचार्य स्वामी जितेंद्रनाथ महाराज,महानिर्वाणी महामंडलेश्वर स्वामी विश्वेश्वरानंद महाराज, श्रीमहंत दुर्गादास बड़ा अखाड़ा,श्रीमहंत रविंद्रपुरी के साथ विश्व हिन्दू परिषद के संरक्षक दिनेश चंद्र,केंद्रीय कार्याध्यक्ष आलोक कुमार,केंद्रीय महामंत्री मिलिंद परांडे, श्री राम मंदिर तीर्थ क्षेत्र अयोध्या के महामंत्री तथा केंद्रीय उपाध्यक्ष चंपत राय ने संयुक्त रुप से किया। उपवेशन के प्रथम सत्र की अध्यक्षता जूना पीठाधीश्वर आचार्य महामंडलेश्वर अवधेशानंद गिरि जी महाराज ने की। विश्व हिन्दू परिषद के केन्द्रीय कार्याध्यक्ष आलोक कुमार ने उपवेशन की प्रस्तावना को संतो के समक्ष प्रस्तुत किया। विश्व हिन्दू परिषद की वर्ष भर की गतिविधियों और उपलब्धियों को केंद्रीय महामंत्री मिलिंद परांडे ने उपस्थित धर्माचार्यो के समक्ष रखा। उपवेशन के प्रथम सत्र में भारतीय संस्कृति और संस्कारों पर कुठराघात, समलैंगिकता और लिव इन रिलेशनशिप विषय पर संतो ने अपने विचार प्रकट कर गहन चिंतन मनन किया। अखिल भारतीय संत समिति के महामंत्री स्वामी जितेंद्रानंद सरस्वती, गौसंवर्धन आयोग मध्यप्रदेश के अध्यक्ष महामंडलेश्वर स्वामी अखिलेश्वरानंद गिरि, महामंडलेश्वर यतींद्रानंद गिरी,श्रीमहंत कमलनयन दास अयोध्या,साध्वी शक्ति परिषद की केंद्रीय महामंत्री महामंडलेश्वर स्वामी विभानंद गिरी महाराज,जगदगुरू दादूपंथचार्य स्वामी अर्जुनदास महाराज, पंचायती अखाड़ा महानिर्वाणी के महामंडलेश्वर अभयानंद सरस्वती,अखिल भारतीय संत समिति दिल्ली प्रांत अध्यक्ष महामंडलेश्वर स्वामी नवल किशोर दास, महामंडलेश्वर स्वामी सर्वेश्वरदास महाराज,स्वामी निजानंद सरस्वती सौराष्ट्र,डा.जनार्दन मेटे महाराज,स्वामी परशुराम गिरी महाराज गुजरात,श्री पंचायती अखाड़ा बड़ा उदासीन के महामंडलेश्वर स्वामी हरिचेतनानंद, भारत माता मंदिर के महंत स्वामी ललितानंद,म.म.रूपेन्द्रप्रकाश महाराज,दक्षिण कर्नाटक से मदार चेनय्या स्वामी,परमार्थ निकेतन परमाध्यक्ष स्वामी चिदानंद मुनि महाराज, पटना साहिब के जत्थेदार ज्ञानी इकबाल सिंह, बौद्ध संत राहुल बौद्ध महाराष्ट्र सहित उपस्थित समस्त धर्माचार्यो ने कहा कि देश में भारतीय संस्कृति और संस्कारों को विदेशी षडयंत्रों पर आधारित नैरेटिव अर्थात विमर्श के माध्यम से समाज और देश को तोड़ने का षडयंत्र चल रहा है। इसे भलीभांति समझ कर इसका विरोध करने की आवश्यकता है। संतो ने देश में निर्बाध चल रहे अवैध धर्मान्तरण के विरोध में कठोर कानून बनाने की मांग की। उपवेशन में उपस्थित समस्त संतजनों ने आक्रोश व्यक्त करते हुए कहा कि सरकार के द्वारा मंदिरों का अधिग्रहण नहीं होना चाहिए, अधिग्रहित मंदिरों का सरकारी नियंत्रण समाप्त होना चाहिए। इसके लिये जनजागरण का अभियान चलाने का संकल्प भी लिया गया। जूनापीठाधीश्वर आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी अवधेशानंद गिरी महाराज ने समाज के प्रबोधन विषय पर विचार प्रकट किए। विश्व हिन्दू परिषद के केन्द्रीय मार्गदर्शक मण्डल बैठक (उपवेशन) में देश भर से 350 शीर्ष संतों एवं 70 साध्वी धर्माचार्यो ने प्रतिभाग किया। केन्द्रीय मार्गदर्शक मण्डल की बैठक (उपवेशन) का संचालन विहिप के केन्द्रीय मंत्री अशोक तिवारी ने किया। उपवेशन में पधारे संतजनों का स्वागत विश्व हिन्दू परिषद के संरक्षक दिनेश चन्द्र, केन्द्रीय उपाध्यक्ष एवं राम मंदिर तीर्थ क्षेत्र के महामंत्री चंपत राय, केन्द्रीय संगठन महामंत्री विनायकराव देशपांडे, केन्द्रीय महामंत्री मिलिंद परांडे, केंद्रीय संयुक्त महामंत्री कोटेश्वर राव, केंद्रीय उपाध्यक्ष जीवेश्वर मिश्र, केंद्रीय मंत्री राजेंद्र सिंह पंकज, प्रांत अध्यक्ष उत्तराखंड रविदेव आनंद ने किया। इस अवसर पर प्रमुख रुप से क्षेत्र संगठन मंत्री सोहन सिंह सोलंकी,प्रांत संगठन मंत्री उत्तराखंड अजय कुमार, प्रांत उपाध्यक्ष प्रदीप मिश्र,प्रांत उपाध्यक्षा संध्या कौशिक,प्रांत संयोजिका दुर्गा वाहिनी नीलम त्रिपाठी,नीता कपूर,प्रांत संयोजक बजरंग दल अनुज वालिया,विभाग अध्यक्ष बलराम कपूर,गंगा सभा हरिद्वार अध्यक्ष एवं विहिप जिला अध्यक्ष नितिन गौतम,कमल उलियान, अनिल भारती,नवीन तेश्वर,भूपेंद्र सैनी,जिला उपाध्यक्ष प्रभाकर कश्यप,मयंक चौहान, अमित मुल्तानिया आदि उपस्थित रहे।


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