हरिद्वार। सतगुरु ओम दास आश्रम के श्री महंत कृष्ण मुनि जी महाराज ने धार्मिक संपत्तियों पर भू माफियाओं की कुदृष्टि के चलते अनेकों आश्रम धर्मस्थल भू माफियाओं ने ठिकाने लगा दिए हैं, जिसका संपत्ति से दूर दूर तक लेना देना नहीं होता। वह फर्जी दस्तावेज साक्ष्य तैयार कर कोई भी भूमाफिया किसी की भी संपत्ति को खुर्द बुर्द कर डालता है। यह सब संपत्ति क्रय विक्रय मैनुअल के नियम संख्या 240 व 241 का लाभ उठाकर भू माफिया कर रहे हैं। अब तक सैकड़ों धार्मिक संपत्तियों को भू माफिया इसी नियम का लाभ उठाकर ठिकाने लगा चुके हैं। इस नियम के अंतर्गत यह देखा नहीं जाता कि जो संपत्ति क्रय विक्रय करने आया है उसका उस संपत्ति से कोई लेना-देना भी है या नहीं। सिर्फ स्टांप शुल्क अदा करने के बाद सब रजिस्टर किसी की भी संपत्ति की रजिस्ट्री किसी के भी माध्यम से किसी के नाम कर देते हैं। इस नियम में बदलाव होना चाहिए,वह विगत 15वर्षों में जो धर्म स्थलों की फर्जी रजिस्ट्री इस नियम के अंतर्गत की गई है उनकी जांच कर गलत पाए जाने पर उन्हें तत्काल निरस्त किया जाना चाहिए। साथ ही उन्होंने आशंका व्यक्त की है कि उनके गुरु द्वारा स्थापित ओम दास आश्रम कनखल पर भी भूमाफिया अराजक तत्व नजरें गड़ाए हुए हैं तथा उसे जालसाजी के जरिए ठिकाने लगाने की फिराक में उन्होंने बताया कि यह संपत्ति उनकी है किंतु माफिया लोग गलत प्रचार कर धार्मिक संपत्ति को गलत तरीके से ठिकाने लगा देना चाहते हैं। सरकार धार्मिक संपत्तियों के बचाव हेतु सख्त कानून भूमि अधिनियम जारी कर,ें ताकि धार्मिक संपत्तियां भू माफियाओं की दृष्टि से बच सकें साथ ही रजिस्ट्री क्रय विक्रय करते समय शहरी क्षेत्र में नगर निगम गृह कर रिकॉर्ड देखा जाए। ग्रामीण क्षेत्र भू राजस्व अभिलेखों की पुष्टि होने के बाद ही रजिस्ट्री बैनामा स्वीकार किया जाना चाहिए। साथ ही पिछले 10-15 वर्षों में जो बिना रिकॉर्ड देखें रजिस्ट्री बैनामा स्वीकार किए गए हैं,उन पर भी यह नियम लागू होना चाहिए ताकि गुंडे भूमाफिया अराजक तत्वों द्वारा आम जनमानस की कब्जाई गई संपत्तियां उनके सही मालिकों को प्राप्त हो सके। इस गलत नियम के अंतर्गत जो फर्जी रजिस्ट्री जैसे कि काली मंदिर, हर की पैड़ी, कुशा घाट, काली मंदिर भीमगोड़ा, विशुद्ध निवास, आसाराम धाम, ब्रह्मात्म भवन, खन्ना आश्रम सहित अनेकों धर्मस्थल सार्वजनिक सरकारी घाटों तक को भू माफियाओं ने नहीं बख्शा,उल्टे सीधे कागज बनाकर सरकारी घाट हरकी पैड़ी स्थित मंदिर तक को ठिकाने लगा दिया। किंतु सरकार नियम बनाने के बजाए आंख मूंदकर बैठी रही। सरकार को ऐसे लोगों पर ध्यान देना चाहिए जनता को इन लोगों के हाथों लूटने से बचाना चाहिए तथा इस पर सख्त कानून बनाना चाहिए।
हरिद्वार। भाजपा की ओर से ऋषिकेश मेयर,मण्डल अध्यक्ष सहित तीन नेताओं को अनुशासनहीनता के आरोप में नोटिस जारी किया है। एक सप्ताह के अन्दर नोटिस का जबाव मांगा गया है। भारतीय जनता पार्टी ने अनुशासनहीनता के आरोप में ऋषिकेश की मेयर श्रीमती अनिता ममगाईं, ऋषिकेश के मंडल अध्यक्ष दिनेश सती और पौड़ी के पूर्व जिलाध्यक्ष मुकेश रावत को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। भाजपा के प्रदेश मीडिया प्रभारी मनबीर सिंह चैहान के अनुसार पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक के निर्देश पर प्रदेश महामंत्री कुलदीप कुमार ने नोटिस जारी किए हैं। नोटिस में सभी को एक सप्ताह के भीतर अपना स्पष्टीकरण लिखित रूप से प्रदेश अध्यक्ष अथवा महामंत्री को देने को कहा गया है।
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