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तीन दिवसीय 29वीं अन्तर्राष्ट्रीय ऐकेडमी ऑफ फिजीकल साइंस सम्मेलन का समापन


 देहरादून। तीन दिवसीय 29वीं अन्तर्राष्ट्रीय ऐकेडमी ऑफ फिजीकल साइंस का विधिवत समापन हुआ। समापन समारोह के मुख्य अतिथि के रूप में बीर माधो सिंह भण्डारी, उत्तराखण्ड तकनीकी विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार प्रोफेसर डा़ॅ0 सतेन्द्र सिंह ने प्रतिभाग कर रहे शोधार्थियों, शिक्षकगणों व छात्रो को स्मृति चिन्ह व प्रमाण पत्र प्रदान किये। अन्तर्राष्ट्रीय सम्मेलन की अध्यक्षता करते हुए संयोजक डॉ़0 उमेश चन्द्र गुप्ता ने कॉफ्रेंस रिपोर्ट के बारे में विस्तार से बताया और शोधार्थियों के रिसर्च पेपर के महत्व को भी बताया गया। जो कि समाज के उत्थान के लिए प्रेरित करते हैं। इस अवसर पर कुमॉऊ विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति प्रोफेसर डॉ़0 एच.एस.धामी एंव वर्तमान में प्रेसीडेन्ट इन्टरनेशनल ऐकेडमी ऑफ फीजिकल साइंस,(कोनिएप्स) ने विभिन्न वर्गो में प्रतिभाग कर रहे देश-विदेश से शोधार्थियों को उनके द्वारा विज्ञान के विभिन्न क्षेत्रों में उनके द्वारा किये जा रहे प्रयासों की सराहना की। और कहा कि साइंस की तीन सदियॉ रही हैं जिसमें 19 वीं सदी को अंधविश्वास, 20 वीं सदी को विज्ञान की सदी एंव 21वीं सदी को अनिश्चितता की सदी बताया। कॉलेज के निदेषक प्रो0 (डॉ़0) प्रहलाद सिंह ने सम्मेलन में प्रतिभाग कर रहे शिक्षको, शोधार्थियों और छात्रों से कहा कि नवाचार का विचार क्लास रूम में ही पनपता है। जिससे प्रत्येक विधार्थी, शोधार्थियों को नवाचार से निरन्तर अपडेट रहने पर जोर दिया। इस सम्मेलन के द्वारा कॉलेज को देष के विभिन्न राज्यों में पहचान मिली। डॉ सी के मिश्रा एंव डॉ0 डी के गुप्ता ने 2024 में आयोजित कोनिएप्स फरीदाबाद के लिए सभी को भागीदारी करने की बात कही। और शिवालिक कॉलेज में हुई तीन दिवसीय सम्मेलन की सराहना की। सम्मेलन के अन्त में डीन रिसर्च डॉ0 संतोष जोशी,के द्वारा सभी आगन्तुकों,प्रतिभाग कर रहे शोधार्थियों,शिक्षकगणों व छात्रों को धन्यवाद दिया। उन्होंने यह भी कहा कि ऐसे सम्मेलनों से देश ही नहीं बल्कि विदेशों से भी विभिन्न क्षेत्रों में नवाचारों के आदान प्रदान से विकसित राष्ट्र के निर्माण में सहयोग मिल सकेगा। इस अवसर पर कॉलेज के आईक्यूएसी के डायरेक्टर प्रो0डॉ़0कुलदीप पंवार, डॉ0 एकता उपाध्याय ,डीन ऐडमिन एस के सिंह और विभिन्न विभागों के विभागाध्यक्षों,देश-विदेश से कई शिक्षकगण, शोधार्थियों के अलावा छात्र उपस्थित रहे।ं


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