हरिद्वार। जनपद के क्षेत्र में स्किल्ड जनशक्ति में वृद्धि करने के उद्देश्य से ग्राम जमालपुर कलां में हरिद्वार कौशल केन्द्र (हरिद्वार स्किल्स सेंटर) शुभारंभ किया गया है। यह केन्द्र निर्मल ऋषि एजुकेशनल ट्रस्ट हरिद्वार (रजि) द्वारा संचालित किया जाएगा। ट्रस्ट द्वारा विगत 4 वर्षों से समाज के निर्बल वर्ग के छात्र छात्राओं को शिक्षा सुलभ कराने में महत्वपूर्ण योगदान दिया जा रहा है। अवसर पर ट्रस्ट के अध्यक्ष प्रोफेसर विवेक कुमार ने बताया कि इस संस्थान में आर्थिक रूप से निर्बल विद्यार्थियों को नगण्य फीस अथवा निःशुल्क आधार पर कंप्यूटर स्किल,अंग्रेज़ी,कम्युनिकेशन स्किल और व्यक्तित्व विकास की शिक्षा प्रदान की जाएगी केन्द्र की निदेशक कनिका गुप्ता ने कहा कि संस्थान में 15 कंप्यूटर की सुविधा एवं वाई-फाई से सुसज्जित एक कंप्यूटर लैब का निर्माण किया गया है जिसमें से वर्तमान मे 7 कंप्यूटर स्थापित हैं ट्रस्ट के उपाध्यक्ष डॉ महेन्द्र सिंह असवाल ने कहा कि इस संस्थान से विशेषतरू ग्रामीण क्षेत्रों के विद्यार्थियों को लाभ मिलेगा द्यइस अवसर पर ट्रस्टी अनुभा गुप्ता, अलंकार गुप्ता तथा ट्रस्ट के सचिव मनीष अग्रवाल उपस्थित थे
हरिद्वार। कुंभ में पहली बार गौ सेवा संस्थान श्री गोधाम महातीर्थ पथमेड़ा राजस्थान की ओर से गौ महिमा को भारतीय जनमानस में स्थापित करने के लिए वेद लक्ष्णा गो गंगा कृपा कल्याण महोत्सव का आयोजन किया गया है। महोत्सव का शुभारंभ उत्तराखंड गौ सेवा आयोग उपाध्यक्ष राजेंद्र अंथवाल, गो ऋषि दत्त शरणानंद, गोवत्स राधा कृष्ण, महंत रविंद्रानंद सरस्वती, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी ने किया। महोत्सव के संबध में महंत रविंद्रानंद सरस्वती ने बताया कि इस महोत्सव का उद्देश्य गौ महिमा को भारतीय जनमानस में पुनः स्थापित करना है। गौ माता की रचना सृष्टि की रचना के साथ ही हुई थी, गोमूत्र एंटीबायोटिक होता है जो शरीर में प्रवेश करने वाले सभी प्रकार के हानिकारक विषाणुओ को समाप्त करता है, गो पंचगव्य का प्रयोग करने से शरीर की रोगप्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है, शरीर मजबूत होता है रोगों से लड़ने की क्षमता कई गुना बढ़ाता है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में वैश्विक महामारी ने सभी को आतंकित किया है। परंतु जिन लोगों की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत है। कोरोना उनका कुछ नहीं बिगाड़ पाता है। उन्होंने गो पंचगव्य की विशेषताएं बताते हुए कहा ...
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